औरंगाबाद डीएम सौरव जोरवाल की जीवनी | IAS Saurabh Jorwal Biography DM Aurangabad
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सौरभ जोरवाल बिहार राज्य के 2014 बैच के आईएएस अधिकारी हैं,बहुत ही कम समय में इन्होंने अपना प्रशासनिक क्षेत्र में बहुत अच्छा नाम बना लिया है| इनके काम के चर्चे बिहार ही नहीं बल्कि पूरे भारत में की जाती है यह फिलहाल में औरंगाबाद बिहार में स्थापित है। इससे पहले इन्होंने पूर्णिया और सहरसा जिले में तैनात किया गया था इन दोनों जगहों पर इनका काफी अच्छा रिकॉर्ड रहा प्रशासनिक क्षेत्र में रोते हुए लोगों की मदद की है।

इन्होंने अपनी बहादुरी दिखाकर सहरसा में कई उलझे उलझे केस को हल किया जैसे घर अतिक्रमण और सड़क जाम के साथ-साथ जलभराव की समस्या यह समय-समय पर लोगों से जुड़े हुए रहते थे और जरूरतमंदों की सेवा करते थे।
इस पोस्ट में क्या है?
Some More Information About Aurangabad DM Saurabh Jorwal
Posting | Aurangabad(Bihar) |
Batch | 2013 |
Marriage Status | Married |
D.O.B | 04/02/1987 |
Nature | Good |
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सौरभ जोरवाल की पढ़ाई (शुरुआत से आईएएस बनने तक का सफर)
सौरभ ने अपनी शुरुआती पढ़ाई राजस्थान के बांदीकुई एक छोटे से स्कूल से कक्षा दसवीं तक की उसके बाद यह अपनी 11वीं और 12वीं की पढ़ाई करने के लिए जयपुर चले गए वहां इनका दाखिला महावीर पब्लिक स्कूल में हुआ और वही से वह आईआईटीजेईई का तैयारी करने में जुट गए प्रतिदिन 7 से 8 घंटे तक पढ़ाई करते थे सौरभ
सौरभ जोरवाल ने अपनी ग्रेजुएशन की पढ़ाई आईआईटी दिल्ली से की है उन्होंने कंप्यूटर साइंस ब्रांच से बीटेक किया है। बीटेक करने के बाद इन्होंने प्राइवेट कंपनी में 1 साल तक नौकरी भी की है, जैसा कि आपको बता दें सौरभ ने यूपीएससी का परीक्षा दो बार दिया है पहला बार में यूपीएससी निकाला तो रेलवे का क्षेत्र मिला दूसरी बार बने आईएएस
सौरभ ने अपनी बीटेक 2006 से 2010 बैच में पूरी की उसके बाद साल 2011 में यूपीएससी की तैयारी में जुट गया और इन्होंने ठान लिया था कि मैं आईएएस अधिकारी ही बनूंगा उन दिनों दिन रात मेहनत करते थे सौरभ अकेला रूम में रह कर अपने से सारे काम करना और साथ-साथ पढ़ाई करना यह सिलसिला लगातार चलता रहा और जब इन्होंने पहला बार साल 2012 में यूपीएससी का एग्जाम लिखा तो उसमें कुछ अच्छा रैंक नहीं आ पाया उस समय इनको आईआरसीटीसी डिपार्टमेंट में अधिकारी बनाया गया था लेकिन इनको आईएस का जुनून सर चढ़कर बोल रहा था और फिर क्या था या फिर से अगले एग्जाम की तैयारी में जुट गए और दूसरी बार साल 2013 में यूपीएससी एग्जाम में इनका भाग्य साथ दिया और या आईएएस अफसर बन गए।

मज़ेदार किस्से:-सौरभ के दोस्त भी आज हो चुके हैं कामयाब
एक निजी इंटरव्यू में सौरभ जोर वालों ने बताया कि हम तीन दोस्त पूरे स्कूल में परीक्षा में फर्स्ट सेकंड थर्ड आया करते थे और वही दोस्त में हमेशा हम लोग के बीच कंपटीशन रहता था। आज हम तीनों दोस्त अपनी मेहनत और लगन के दम पर कुछ ना कुछ बन गए हैं और समाज की सेवा कर रहे हैं।
सौरभ का पहला दोस्त बैंक मैनेजर है वही दूसरा आईआईटी गुवाहाटी और कोटा में कोचिंग सेंटर चला कर बच्चों को पढ़ा रहा है और तीसरा सौरव जोरवाल आईएएस अफसर बन चुके हैं।
सौरभ जोरवाल की बच्चों से अपील
आईएस सौरभ जुड़वाने की बच्चों से अपील कहा आप जिस भी क्षेत्र में उस में बेस्ट को ही है कोई भी क्षेत्र खराब नहीं होता, जिस क्षेत्र में आपका मन लगे उसमें आप अपना 100% दीजिए सफलता आपको हर हाल में मिलेगी जो भी करो पूरे मन से करो यही सफलता का सबसे बड़ा मूल मंत्र है आप तैयारी में जुट जाएं रास्ता अपने आप बन जाएगी।